संतोष चौरसिया
*दरवाजे बालकनी छत से लगेगे नारे, भाषण नही राशन चाहिए*
संतोष चौरसिया
जमुना कोतमा सीटू 21 अप्रैल को अखिल भारतीय विरोध दिवस मनायेगा कोयला श्रमिक संघ सीटू के अध्यक्ष कामरेड महेश श्रीवास्तव ने यह जानकारी देते हुए आरोप लगाया कि केन्द्र सरकार असंगठित क्षेत्र के मजदूरों, प्रवासी मजदूरों, ठेका मजदूरों आदि की समस्याओं के प्रति पूरी तरह से उदासीन और सम्वेदनशील है उन्होंने कहा कि 3 मई तक लाक डाउन की घोषणा करते हुए देश के प्रधानमंत्री इन मजदूरों की दुदॅशा का ज़िक्र तक करना मुनासिब नही समझा देश के निमार्ण और विकास में जिन श्रमिको का अहम योगदान है उनके लिए पयाॅप्त वित्तीय सहायता उपलब्ध कराने की बजाय केवल प्रवचन ही देते रहे
उन्होंने आरोप लगाते हुए कहा कि जब 30 जनवरी को पहला कोरोनावायरस ग्रसित केश सामने आया था तो उसकी रोकथाम करने की जगह सरकार 24 फरवरी तक नमस्ते ट्रम्प कर रही थी 9 मार्च को कोरोनावायरस से पहली मौत के बाद सतॅक होने की जगह म0प्र0 मे विधायकों की खरीद फरोख्त कर उन्हें बंगलूरू ले जाया जा रहा था हद तो तब हुई जब 20 माचॅ को म0प्र0 की सरकार गिरा कर 22 माचॅ को जनता कफ्यूॅ और 23 माचॅ को म0प्र0 मे भाजपा सरकार का गठन कर 24 माचॅ से लाकडाउन की घोषणा कर दी जाती है
साथियों इस बीच केन्द्र सरकार ने बडी मक्कारी के साथ पूंजीपतियो के इशारे पर मजदूरों के 8 घन्टे काम के अधिकार को बढाकर 12 घन्टे करने की शाजिस कर रही है सीटू भाजपा सरकार के इस मजदूर विरोधी और विश्वासघाती नीतियों को बर्दाश्त नही करेगा सीटू डब्ल्यू एच ओ के निदेशों को मानते हुए लाकडाउन के दौरान भी सरकार की इस मजदूर विरोधी कानून का विरोध करेगा
सीटू मांग करता है कि आयकर न देने वाले परिवारों के लिए 7500/- का नगद हस्तांतरण व प्रवासी मजदूरों को लाकडाउन तक भोजन व अन्य जरूरते पूरी की जाये इसके लिए 21 अप्रेल को प्रातः 10-30 बजे 5 से 10 मिनट के लिए अपने घर के सामने बालकनी/छत आदि पर खडे होकर ” भाषण नही राशन और वेतन चाहिए ” * 12 घन्टे काम का कानून नही चलेगा * के नारे लगाये जायेगे प्रधानमंत्री पोटॅ पर ई मेल भेजे जावेगे जहाँ कमॅचारी ड्यूटी पर हैं वहां हस्तलिखित या टाइप्ड तख्तिया/बैनर लेकर कायॅस्थल पर प्रदॅशन करेगे