अनूपपुर

कोयला मंत्री को पत्र लिखकर श्रमिक नेता ने कोयला कामगारों के क्षतिपूर्ति राशि को बढ़ाने की मांग

राजनगर काॅलरी। कोयला मजदूरों ने विपदा के समय मे पिछले साल से निरंतर जो देश की सेवा की है वो बेमिसाल है, लेकिन उन्हे कोई सम्मान तो मिलना दूर नाम भी नही मिला, उनके आश्रित परिवार पहले भी दुर्घटनाओं के साये मे जीते थे और अब तो संघातिक संक्रमण ऊपर से उनकी आशंकाओं को बढ़ा रहा है। आज से ठीक एक वर्ष पहले मई 2020 मे राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र दिल्ली की सरकार ने अपने स्थायी और अस्थायी कर्मचारियों और निजी क्षेत्र के कर्मचारीयों, डाक्टर, नर्सेज, पैरामेडिक्स, तकनीशियन, इलेक्ट्रिशियन, पलम्बर या लैब असिस्टेंट, पुलिस, एम्बुलेंस ड्राइवर से सफाई कर्मी तक सभी को मृत्यु की दशा मे एक करोड़ रुपये क्षतिपूर्ति देने की घोषणा की थी। दिल्ली सरकार के कैबिनेट सचिव विजय कुमार देव ने पत्र क्रमांक F.O3/07/2020/GAD/CN/dsgadiii/458-469 दिनांक 13.05.2020 के द्वारा दिल्ली कैबिनेट के इस निर्णय की जानकारी दी थी। पूरे देश मे 250 से अधिक कोलइंडिया लिमिटेड के कर्मचारियों ने कर्तव्य की बलि वेदी पर अपने प्राणों को न्योछावर कर दिया। हजारों मजदूरों के फेफड़े संक्रमण के कारण अब कभी ठीक नही हो पायेंगे। अध्यादेशों की सरकार कोविड-19/सार्स-2 संक्रमण से हुई कार्यक्षमता की हानि, वैकल्पिक कार्य नियोजन के महत्ती प्रश्न पर आंख मूंदे हुये है। मरने पर 15 लाख मात्र जो खदान मे संघातिक दुर्घटना मे पहले 5 लाख फिर 15 लाख हुआ। पर कोविड मृत्यु कर्मकार क्षतिपूर्ति के दायरे मे नही है। हिन्द मजदूर सभा की ओर से कोल इंडिया लिमिटेड के त्रिपक्षीय सुरक्षा परिषद सदस्य अख्तर जावेद ने बताया है कि उन्होंने कोयला मंत्री से दिल्ली सरकार के कर्मचारियों के समकक्ष एक करोड़ रुपये का अनुतोष देने की मांग की पत्र लिखकर की है। कोविड संक्रमण को क्षतिपूर्ति का विषय खान सुरक्षा महानिदेशालय और श्रम मंत्रालय मे उठाया गया है। उन्होंने यह विश्वास जताया है कि हिन्द मजदूर सभा के आग्रह पर वैक्सीन खरीदने के निर्णय के समान ही कोयला मजदूरों को अधिकतम समकक्ष अनुतोष के बिषय पर केन्द्रीय सरकार अवश्य निर्णय लेगी, जिसका लाभ कोल इंडिया में कार्य कर रहे हजारों श्रमिकों को मिल सकेगा।

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